एक स्वर्णिम झलक जादोंवाटी : ब्रजभूमि का राज्य करौली ------
एक स्वर्णिम झलक जादोंवाटी : ब्रजभूमि का राज्य करौली ------------ यदुकुल वंश प्रवर्तक महाराज वज्रनाभ एवं महाराजा जियेन्द्रपाल मथुरा -------- यदुकुल शिरोमणि भगवान श्री कृष्ण वासुदेव मथुरा से द्वारिका पुरी गये।श्रीकृष्ण जी के पुत्र प्रधुम्न जी के पुत्र अनुरुद्ध जी सभी द्वारिका में रहे।अनिरुद्ध जी के पुत्र यदुकुल वंश प्रवर्तक महाराज श्री वज्रनाभ जी द्वारिका से पुनः मथुरा नगरी के राजा बने ।महाराज बज्रनाभ जी के 74 पीढ़ी बाद ई0 800 के लगभग मथुरा के राजा धर्मपाल हुए । राजा धर्मपाल के नाम के साथ ही "पाल "उपनाम जादों क्षत्रियों के साथ लिखा मिला है।राजा धर्मपाल जी बाद ई0 879 में इच्छापाल मथुरा के शासक हुए ।इनके 2 पुत्र ब्रहमपाल जो मथुरा के शासक हुए दूसरे पुत्र विनय पाल महुवे के शासक हुए जिनके वंशज "बनाफर"कहलाये।ब्रहमपाल की मृत्यु के बाद उनके बेटे जायेंद्रपाल ई0 966 में मथुरा के शासक हुए ।इनके11 पुत्र हुए।इनकी मृत्यु संवत 1049 में मथुरा में हुई।इनके 11 पुत्रों में विजयपाल सबसे बड़े थे जो यवन काल में मथुरा छोड़ कर बयाना अपनी राजधानी ले आये । महाराजा विजयपाल मथुरा ...